@ नई दिल्ली
सैन्य अभियंता सेवा के परिवीक्षा अधिकारियों ने 12 जुलाई, 2024 को राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से भेंट की। इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि सैन्य अभियंता सेवा, MES भारतीय सुरक्षा से जुड़ी महत्वपूर्ण इकाइयों में से एक है क्योंकि यह न केवल भारतीय सेना की तीनों सेवाओं की सेवा करती है बल्कि रक्षा मंत्रालय की कई अन्य इकाइयों को भी अपनी सेवाएं प्रदान करती है।
उन्होंने कहा कि MES का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि हमारे रक्षा बलों के पास मजबूत बुनियादी व्यवस्था और अच्छी सुविधाएं बनी रहें।
इसलिए MES अधिकारियों की सफलता की यह कसौटी होगी कि उनके द्वारा प्रदान की जाने वाली बुनियादी संरचना या सुविधाएं विश्वसनीयता और गुणवत्ता के मानकों पर खरी उतरें। उन्होंने MES अधिकारियों को हमेशा सतर्क रहने की सलाह दी। राष्ट्रपति ने कहा कि MES को अपनी सेवाओं में उच्चतम गुणवत्ता बनाए रखकर अपना सम्मान अर्जित करना होगा।
राष्ट्रपति ने MES अधिकारियों से कहा कि बुनियादी ढांचे का निर्माण करते समय उन्हें जलवायु परिवर्तन के अनुकूल विषयों को भी ध्यान में रखना होगा। राष्ट्रपति ने कहा कि वह जो भी कार्य करें उसमें कार्बन उत्सर्जन न्यूनतम होना चाहिए। उन्हें यह जानकर प्रसन्नता हुई कि MES इस दिशा में प्रयास कर रही है।
राष्ट्रपति ने कहा कि MES अधिकारियों की जिम्मेदारी केवल तकनीकी ही नहीं, बल्कि नैतिक और प्रबंधकीय भी है। उन्हें यह संकल्प लेना चाहिए कि उनके हर कार्य में देश के संसाधनों का कुशल और प्रभावी उपयोग हो। राष्ट्रपति ने कहा कि उनकी कार्यकुशलता और नैतिकता से राष्ट्र की सुरक्षा मजबूत होगी।