@ नई दिल्ली :
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने राजस्थान के जोधपुर में सरदार वल्लभभाई पटेल की 11 फुट ऊंची प्रतिमा का अनावरण किया। इस अवसर पर केन्द्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति उपस्थित थे।
अपने संबोधन में अमित शाह ने कहा कि सरदार पटेल इतिहास का एक ऐसा पृष्ठ हैं जिनके साथ इतिहास और देश दोनों ने न्याय नहीं किया। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल जैसे महान व्यक्ति के गुणों, बलिदान, कर्मठता और दूरदर्शिता का सुफल आज देश को मिल रहा है, लेकिन पहले उन्हें उचित स्थान और सम्मान नहीं मिला था।
शाह ने कहा कि दशकों तक एक ही परिवार की भक्ति में रची-बसी पार्टी ने कभी सरदार पटेल का स्मारक तक नहीं बनाया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी ने केवड़िया में दुनिया की सबसे ऊंची स्टेच्यू ऑफ यूनिटी बनाकर सरदार पटेल को सम्मानित करने का काम किया।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि सरदार पटेल के गुणों और योगदान को भारत कभी नहीं भुला सकता। उन्होंने कहा कि सरदार पटेल एक ऐसे व्यक्ति थे, जिन्होंने नाम और प्रसिद्धि की कभी चिंता नहीं की और देश के सामने खड़ी विपदाओं को अपने ऊपर लेकर उनसे मुक्ति दिलाने का काम किया। शाह ने कहा कि सरदार साहब न होते तो 556 से अधिक रियासतें एक न होतीं और आज भारत का जो नक्शा हम देखते हैं, वो कभी न दिखता। उन्होंने कहा ये सरदार साहब का ही योगदान है कि आज हम भारतीय संघ के रूप में एक होकर खड़े हैं। उन्होंने कहा कि गुजरात और राजस्थान की कई रियासतों को अनेक षड़्यंत्रों से मुक्त करा कर भारत के साथ जोड़ने का काम सरदार पटेल ने किया।
अमित शाह ने कहा कि 1100 किलोग्राम और 11 फुट ऊंची सरदार पटेल की ये प्रतिमा कई धातुओं से बनी है और इसे 8 फुट ऊंचे स्थान पर लगाया गया है। उन्होंने कहा कि इस प्रतिमा की ऊंचाई भले ही 11 फुट हो लेकिन इसकी सुगंध युगों-युगों तक फैलेगी। शाह ने कहा कि वे सरदार साहब ही थे जिन्होंने महाराजा जोधपुर को समझाकर जोधपुर रियासत का भारत में विलय करने का काम किया। उन्होंने कहा कि सरदार साहब ने ही जोधपुर एयरबेस को एक स्ट्रेटेजिक एयरबेस बनाकर भारत को सुरक्षित करने का काम किया।
केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि विंस्टन चर्चिल ने कहा था कि स्वाधीन होने के बाद भारत खंड-खंड बिखर जाएगा, लेकिन सरदार साहब के कारण आज भारत गौरव के साथ विश्व के सामने सीना तानकर खड़ा है। उन्होंने कहा कि कई सालों तक भारत पर शासन करने वाले उसी ब्रिटेन को पीछे छोड़कर आज भारत की अर्थव्यवस्था दुनिया की पांचवे नंबर की अर्थव्यवस्था बन गई है, ये सरदार साहब के संकल्प का ही फल है। शाह ने कहा कि सरदार साहब ने चर्चिल के कथन को गलत साबित करते हुए भारत को मज़बूत, एक और अखंड बनाया।
अमित शाह ने कहा कि सरदार साहब के अल्प जीवनकाल में कई चीज़ें पूरी नहीं हो सकीं। उन्होंने कहा कि धारा 370, 35ए, यूनिफॉर्म सिविल कोड, अयोध्या मे भव्य राम मंदिर मंदिर, ट्रिपल तलाक को समाप्त करना, देश की सेना और सीमा के सम्मान की रक्षा करने की परंपरा जैसे काम जो सरदार साहब के अल्प कालखंड में छूट गए थे, वो सारे काम देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी ने मात्र 10 साल में ही समाप्त कर दिए। शाह ने कहा कि आज देश में धारा 370 का अस्तित्व नहीं है और कश्मीर हमेशा के लिए भारत का अभिन्न अंग बन चुका है। सरदार साहब देश में कॉमन सिविल कोड के पक्ष में थे और आज मोदी जी के नेतृत्व में उत्तराखंड से यूनिफॉर्म सिविल कोड लाने का काम शुरू हुआ है और ट्रिपल तलाक भी समाप्त हो गया है।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री ने कहा कि सरदार साहब के सारे अधूरे संकल्प प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में पूरे हुए हैं। उन्होंने कहा कि इतने महान व्यक्तित्व को एक परिवार और पार्टी का दबदबा बनाए रखने और अपने मतभेदों के कारण विंडिक्टिव अप्रोच के साथ भुलाने का प्रयास किया गया। शाह ने कहा कि सत्य को कोई दबा नहीं सकता और सत्य सदैव उचित समय पर सूर्य की भांति दैदीप्यमान होकर बाहर आता है। उन्होंने कहा कि आज सरदार साहब को भारत रत्न भी मिला है और दुनिया का सबसे ऊंचा स्मारक भी आज सरदार वल्लभभाई पटेल के नाम से है।
अमित शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी ने 2 वर्ष तक सरदार पटेल की 150वीं जयंती को मनाने का निर्णय लिया है और यह निर्णय एक महान भारत की रचना की नींव डालने का काम करेगा। उन्होंने कहा कि आज यहां लगाई गई सरदार पटेल की 11 फुट ऊंची और 1100 किलोग्राम वज़न वाली प्रतिमा निश्चित रूप से युवा पीढ़ी को सरदार साहब के सिद्धांतों की याद दिलाएगी और उन्हें प्रेरणा देगी।